जिलाधिकारी हिमांशु खुराना ने वृहस्पतिवार को कलेक्ट्रेट सभागार में जिला आपदा प्रबंधन प्राधिकरण की बैठक ली। इस दौरान उन्होंने आपदा में जनहानि, पशुहानि, फसलों व परिसंपत्तियों की क्षति और आपदा प्रभावितों को अहैतुक सहायता राशि वितरण कार्यों की विस्तृत समीक्षा की।
जिलाधिकारी ने सभी एसडीएम को निर्देशित किया कि जिन परिवारों के विस्थापन हेतु आपदा से धनराशि अवमुक्त की जा चुकी है उनका जल्द से जल्द भवन निर्माण कराना सुनिश्चित किया जाए। आपदा से क्षतिग्रस्त जिन सड़कों के आंगणन अभी तक नही भेजे गए है संबधित विभाग तत्काल आंगणन उपलब्ध करें। गोपेश्वर-पोखरी मोटर मार्ग को अभी तक सुचारू न किए जाने पर जिलाधिकारी ने नाराजगी व्यक्त करते हुए लोनिवि को जल्द से जल्द मार्ग को सुचारू कराने के निर्देश दिए। जल संस्थान को आपदा के दौरान अस्थाई रूप से ठीक की गई पेयजल लाईन को स्थायी तौर पर ठीक कराने को कहा।
जिला आपदा प्रबंधन अधिकारी एनके जोशी ने बताया कि जनपद में 15 गांवों का विस्थापन किया जा चुका है और 3 गांवों का विस्थापन हेतु प्रस्ताव शासन को भेजा गया है। प्राकृतिक आपदा से प्रभावित परिवारों को तात्कालिक रूप से 115.46 लाख की आर्थिक सहायता वितरण की गई। एसडीआरएफ में 35 स्वीकृत योजनाओं के लिए 130.83 लाख धनराशि विभागों को अवमुक्त की गई है। आपदा न्यूनीकरण के तहत 16 स्वीकृत योजनाओं हेतु 93.94 लाख धनराशि विभागों को अवमुक्त की गई। साथ ही 07 पुल पुलिया निर्माण हेतु 41.08 लाख धनराशि अवमुक्त की गई है। विभागों से आपदा में क्षतिग्रस्त 92 योजनाओं के पुर्ननिर्माण हेतु 329.30 लाख के प्रस्ताव प्राप्त हुए है। लोक निर्माण विभाग की 125 सड़कों में से 118 सड़के सुचारू हो गई है जबकि अत्यधिक क्षति के कारण सात सड़कों पर काम चल रहा है। पीएमजीएसवाई की सभी सड़के यातायात के लिए सुचारू हो गई है।
इस अवसर मुख्य विकास अधिकारी वरूण चौधरी, एडीएम हेमंत कुमार वर्मा, संयुक्त मजिस्ट्रेट अभिनव शाह, एसडीएम कुमकुम जोशी, एसडीएम सुधीर कुमार, एसडीएम संतोष कुमार पांडेय, एसडीएम रवीन्द्र ज्वांठा, पुलिस क्षेत्राधिकारी विमल प्रसाद सहित सड़क, शिक्षा, विद्युत, पेयजल, उद्यान, कृषि आदि विभागों के अधिकारी उपस्थित थे।