लक्ष्मण नेगी
ऊखीमठ : पंच केदारों में तृतीय केदार के नाम से प्रसिद्ध भगवान तुंगनाथ के कपाट शुभ लग्नानुसार विधि – विधान, वेद ऋचाओं, महिलाओं के मांगल गीतों , स्थानीय वाद्य यंत्रों की मधुर धुनों व सैकड़ों भक्तों की जयकारों के साथ शीतकाल के लिए बन्द कर दिये गये है। कपाट बन्द होने के पावन अवसर पर 1216 तीर्थ यात्री कपाट बन्द होने के साक्षी बने। कपाट बन्द होने के बाद भगवान तुंगनाथ की चल विग्रह उत्सव डोली कैलाश से रवाना होकर सुरम्य मखमली बुग्यालों में नृत्य करते हुए प्रथम रात्रि प्रवास के लिए चोपता पहुंच गयीं है तथा मंगलवार को दो रात्रि प्रवास के लिए भनकुण्ड पहुंचेगी तथा 7 नवम्बर को शीतकालीन गद्दी स्थल मक्कूमठ में विराजमान होगी तथा 8 नवम्बर से भगवान तुंगनाथ की शीतकालीन पूजा विधिवत शीतकालीन गद्दी स्थल मक्कूमठ में शुरू होगी।
सोमवार को ब्रह्म बेला पर विद्वान आचार्यों द्वारा भगवान तुंगनाथ का महाभिषेक कर आरती उतारी मठापति राम प्रसाद मैठाणी की मौजूदगी में विद्वान आचार्यों द्वारा भगवान तुंगनाथ के स्वयं भू लिंग को ब्रह्म कमल, भस्म, चन्दन, पुष्प, अक्षत्र सहित विभिन्न पूजा सामाग्रियों से समाधि दी गयी तथा भगवान तुंगनाथ जगत कल्याण के लिए तपस्यारत हो गये। कपाट बन्द होने के बाद भगवान तुंगनाथ की चल विग्रह उत्सव डोली ने मुख्य मन्दिर सहित सहायक मन्दिरों की परिक्रमा की तथा कैलाश से शीतकालीन गद्दी स्थल मक्कूमठ के लिए रवाना होकर प्रथम रात्रि प्रवास के लिए चोपता पहुंच गयीं है। भगवान तुंगनाथ की चल विग्रह उत्सव डोली के चोपता पहुंचने पर देश – विदेश के तीर्थ यात्रियों,स्थानीय व्यापारियों , जीप टैक्सी यूनियन व घोड़े खच्चर संचालकों द्वारा भगवान तुंगनाथ की चल विग्रह उत्सव डोली का पुष्प वर्षा कर भव्य स्वागत किया गया।
मंगलवार को भगवान तुंगनाथ की चल विग्रह उत्सव डोली विभिन्न यात्रा पड़ावों पर श्रद्धालुओं को आशीर्वाद देते हुए दो रात्रि प्रवास के लिए भनकुण्ड पहुंचेगी तथा 7 नवम्बर को भगवान तुंगनाथ की चल विग्रह उत्सव डोली शीतकालीन गद्दी स्थल मक्कूमठ में विराजमान होगी तथा 8 नवम्बर से भगवान तुंगनाथ की शीतकालीन पूजा विधिवत शुरू होगी। डोली प्रभारी प्रकाश पुरोहित ने बताया कि तुंगनाथ – चोपता पैदल मार्ग पर विभिन्न राज्यों के सैकड़ों श्रद्धालुओं ने भगवान तुंगनाथ की चल विग्रह उत्सव डोली के दर्शन कर विश्व समृद्धि की कामना की। प्रबन्धक बलवीर सिंह नेगी ने बताया कि भगवान तुंगनाथ के कपाट बन्द होने के पावन अवसर पर 1216 तीर्थ यात्री कपाट बन्द होने के साक्षी बने तथा इस बार तुंगनाथ धाम में तीर्थ यात्रियों के आकड़े ने नया कीर्तिमान स्थापित किया है तथा 6 माह की अवधि में 1 लाख, 73 हजार 742 तीर्थ यात्रियों ने तुंगनाथ में पूजा , अर्चना व जलाभिषेक कर मनौती मांगी ! इस मौके पर मुख्यमंत्री चार धाम सलाहकार वी डी सिंह, धीर सिंह नेगी, सदानन्द भटट्, जय कृष्ण मैठाणी, अजय मैठाणी, अतुल मैठाणी, सुरेन्द्र प्रसाद मैठाणी, केवलानन्द मैठाणी, जीतपाल भण्डारी, अभिषेक मैठाणी, कर्ण सिंह रौथाण, विजय भारत मैठाणी, मनोज मैठाणी, बुद्धि बल्लम सेमवाल, रवीन्द्र भटट्, चन्द्रमोहन बजवाल सहित मन्दिर समिति के अधिकारी, कर्मचारी, हक – हकूकधारी , देश – विदेश के सैकड़ों श्रद्धालु मौजूद रहे।